““हिन्दुओं का आधार है सनातन धर्म। हमारा मिशन सनातन धर्म का पुनरुत्थान व सभी हिन्दुओं को एकजुट करना। मानवता और हिन्दुओं के लिए सनातन धर्म स्थल का निर्माण करना जो विश्व का सबसे बड़ा तीर्थ स्थान ही नहीं बल्कि ज्ञान, पूजा व प्रार्थना का केंद्र भी होगा”।”
सनातन धर्म प्रतिष्ठान® एक गैर लाभकारी, गैर राजनीतिक, सार्वजनिक धार्मिक व धर्मार्थ पंजीकृत ट्रस्ट है और इसका मुख्य कार्यालय गुरुग्राम (हरियाणा) में हैं।
सनातन धर्म का पुनरुत्थान, सभी हिन्दुओं को एकजुट करना और सनातन धर्म स्थल का निर्माण करना प्रतिष्ठान के मुख्य उद्देश्य हैं। स्थल विश्व का सबसे बड़ा तीर्थ स्थान, ज्ञान केंद्र, पूजा व प्रार्थना का स्थान होगा। और जानें....
प्रतिष्ठान को श्रीमती नील कंवल अग्रवाल ने ट्रस्ट डीड के माध्यम से स्थापित किया है और 5 करोड़ रुपए की राशि दी है। और जानें....
अध्यक्ष
बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज
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सनातन धर्म सबसे पुराना धार्मिक दर्शनशास्त्र है और यह मूल्यों, कर्तव्यों और जिम्मेदारियों का वर्णन करता है जो ब्रह्मांड के निर्माता ने प्रतिष्ठापित की हैं। इनका पालन सभी को, जीवित या निर्जीव, मनुष्य को भी, करना है। सनातन धर्म के शास्त्र ' वेद ' विश्व के सबसे पुराने लिखित ग्रंथ हैं जो कम से कम 7500 ईसा पूर्व वर्ष के हैं।
हिन्दुओं का आधार सनातन धर्म शास्त्र हैं।
हिन्दुओं का आधार सनातन धर्म शास्त्र हैं। और जानें....
1000 ईसा पूर्व वर्ष से पंथों और सम्प्रदायों, यहूदी, जैन, बौद्ध, ईसाई, इस्लाम, सिख, स्वामीनारायण, आर्य समाज, साई बाबा इत्यादि, के उभरने की शुरुआत हुई जिसने सनातन धर्म को पीछे धकेल दिया। और जानें....
पंथ / सम्प्रदाय धर्म नहीं हैं। और जानें....
सनातन धर्म प्रतिष्ठान® हिन्दू सनातन धर्म - मूल जानकारी " नाम की पुस्तक को प्रकाशित करने पर काम कर रहा है। यह पुस्तक सनातन धर्म और वैदिक विद्द्वानों के कथन पर आधारित होगी और इस पुस्तक का समायोजन प्रतिष्ठान के अध्यक्ष श्री सुदेश अग्रवाल कर रहे हैं। अंतर जानें....
हिन्दुओं ने देवी देवताओं के बड़े से बड़े मंदिर बनाए लेकिन किसी केंद्रीय सनातन धर्म स्थल का निर्माण कभी नहीं किया जिससे हिन्दू पंथों और सम्प्रदायों में विभाजित होते चले गए। आज की युवा पीढ़ी हिन्दू सनातन धर्म के बारे में भ्रांत है और इसे ठीक करना जरूरी है। सनातन धर्म का पुनरुत्थान आज की सबसे बड़ी जरूरत है जिससे युवा और आने वाली पीढ़ियों को सही मूल्यों, कर्तव्यों और जिम्मेदारियों का ज्ञान दिया जा सके जो चरित्र निर्माण में मील का पत्थर होगा। और जानें....
सनातन धर्म का पुनरुत्थान करना।
मिलजुल कर शांतिपूर्वक रहने का संदेश देना।
हिन्दू रीति रिवाजों, त्योहारों, संस्कारों, प्रथाओं और परंपराओं का अध्ययन करना और सुवीही रूप देने का मार्गदर्शन करना।
सनातन धर्म की जानकारी का प्रसार करना।
तीर्थ यात्रा का पवित्र स्थल बनना।
अन्य पंथों व सम्प्रदायों के साथ सम्मेलन करने का स्वीकृत स्थान बनना।
हिन्दुओं को एकजुट करना चाहे वो किसी भी पंथ, सम्प्रदाय, जाति या वर्ग से हों।
सनातन धर्म का केंद्रीय मार्गदर्शक प्राधिकरण बनना।
विश्व एक परिवार है" इस सनातन संदेश का प्रचार करना।
भूमि क्षेत्रफल : 8000 से 10000 एकड़
पवित्र नदी के तट पर
सड़क, रेल, हवाई व समुद्री मार्ग से जुड़ा
विश्वविद्यालय: सनातन धर्म की शिक्षा और 10000 शास्त्री प्रतिवर्ष ग्रेजुएट करने के लिए
विद्यापीठ: सनातन धर्म व अन्य पंथों / संप्रदायों, हिन्दू रीति रिवाज़ों, संस्कारों इत्यादि का अध्ययन करने के लिए
गुरुकुल
वैलनेस केंद्र
योग केंद्र
तीर्थ यात्रियों के लिए आवास
सभी सहयोगी व समर्थकों को मान्यता दी जाएगी और उनके नामों को दर्शाया या गुप्त रखा जायेगा।
धारा 80G के अंतर्गत टैक्स में छूट की अनुमति मिली।
मुख्य मंत्री - महाराष्ट्र से परियोजना अनुमति का पत्र मिला।
परियोजना का जागरूकता अभियान शुरू किया।
महाऋषि महेश योगी समूह के डॉ टोनी नादर के साथ MOU को लेकर मुलाकात की।
वेबसाइट लॉन्च की।
सोशल मीडिया चालू किया।
अन्तर्राष्ट्रीय वैश्य महासम्मेलन के साथ सहयोगी बनने का समझौता किया।
शास्वत सनातन प्रतिष्ठान के साथ सहयोगी बनने का समझौता किया।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के साथ बैठकें कीं।
मुंबई में श्री राज ठाकरे के साथ मुलाकात की।
इन्वेस्ट यूपी के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।
महाऋषि महेश योगी समूह के डॉ टोनी नादर के साथ MOU को लेकर मुलाकात की।
इंटरनेशनल वैश्य फेडरेशन के साथ एमओयू साइन किया। के साथ।
श्री देवेंद्र फडणवीस, महाराष्ट्र के माननीय उप मुख्यमंत्री के साथ।
महाराष्ट्र के माननीय मुख्यमंत्री श्री एकनाथ
शिंदे के साथ।
भारत और विदेशों में रहने वाले हिंदुओं, राज्य व केंद्र सरकार के सहयोग के बिना सनातन धर्म प्रतिष्ठान को सनातन धर्म स्थल का निर्माण न तो करना चाहिए और ना ही कर सकता है।
इसलिए इस परियोजना को पूरा करने के लिए सभी को आमंत्रित करता है कि वह किसी न किसी रूप में अपना सहयोग दें।
मेरी सनातन धर्म स्थल परियोजना में रुचि है और मैं सहयोगी / समर्थक के रूप में जुड़ना चाहता हूँ। मेरे बारे में जानकारी नीचे दी गई है।